श्रीनिवास तिवारी की प्रतिमा स्थापना को लेकर कांग्रेस आक्रामक, 17 सितंबर को जनता करेगी फैसला

रीवा में पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और विंध्य क्षेत्र के कद्दावर नेता श्रीनिवास तिवारी की प्रस्तावित प्रतिमा स्थापना को लेकर कांग्रेस ने प्रशासन पर दोहरे मापदंड अपनाने का आरोप लगाते हुए तीखा हमला बोला है। कांग्रेस नेताओं ने स्पष्ट किया कि 17 सितंबर को होने वाले शताब्दी समारोह के अवसर पर प्रतिमा स्थापना जनता के निर्णय से होगी और इसे कोई नहीं रोक सकेगा।

श्रीनिवास तिवारी की प्रतिमा स्थापना को लेकर कांग्रेस आक्रामक, 17 सितंबर को जनता करेगी फैसला

रीवा। पूर्व विधानसभा अध्यक्ष व विंध्य क्षेत्र की राजनीति के शिखर नेता श्रीनिवास तिवारी की प्रस्तावित प्रतिमा स्थापना को लेकर प्रशासनिक अड़चनों के बीच अब कांग्रेस खुलकर आक्रामक मुद्रा में आ गई है।

गुरुवार को कांग्रेस ने प्रेस वार्ता कर साफ किया कि 17 सितंबर को होने वाले शताब्दी समारोह के मौके पर जनता स्वयं तय करेगी कि प्रतिमा उसी दिन स्थापित होगी या फिर किसी और दिन, लेकिन इसे कोई रोक नहीं सकेगा। ग्रामीण जिला कांग्रेस अध्यक्ष राजेन्द्र शर्मा ने कहा श्रीनिवास तिवारी केवल एक राजनीतिक व्यक्ति नहीं थे, वे सर्वहारा वर्ग की आवाज थे।

उनकी प्रतिमा स्थापना को रोकने का प्रयास, पूरे विंध्य क्षेत्र के जनभावनाओं का अपमान है। प्रशासन की मनमानी अब बर्दाश्त नहीं होगी। राजेन्द्र शर्मा ने बताया कि 31 मार्च 2018 को नगर निगम परिषद में सर्वदलीय सहमति से श्रीनिवास तिवारी और महाराजा मार्तंड सिंह की प्रतिमाएं स्थापित करने का प्रस्ताव पारित किया गया था, लेकिन भाजपा शासित परिषद और सरकार ने इस पर कोई कार्रवाई नहीं की।

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कांग्रेस के महापौर अजय मिश्रा के नेतृत्व में 2022 में फिर से इस दिशा में कदम उठाए गए और बीते दिनों पुलिस लाइन के समीप प्रतिमा स्थापना का कार्य शुरू किया गया। नगर निगम ने आवश्यक अनुमति के लिए पत्र भी लिखा, लेकिन बिना किसी स्पष्ट निर्णय के काम पर रोक लगा दी गई।

इस पर कांग्रेस ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि जब 30 दिन से कार्य चल रहा था, तब कोई आपत्ति क्यों नहीं ली गई, अचानक पुलिस विभाग ने काम क्यों रुकवाया, ये किसके इशारे पर हुआ।  जिला अध्यक्ष ने कहा रीवा में हर कार्य डिप्टी सीएम राजेन्द्र शुक्ला की स्वीकृति पर होता है।

जो हो रहा है सब उन्हीं के इशारे पर हो रहा है। पत्रकार वार्ता में  महापौर अजय मिश्रा, शहर कांग्रेस अध्यक्ष अशोक पटेल और संगठन मंत्री सज्जन पटेल भी मौजूद रहे। 

प्रतिमा स्थापना पर दोहरा मापदंड 

कांग्रेस अध्यक्ष राजेन्द्र शर्मा ने अन्य प्रतिमाओं की स्थापना का हवाला देते हुए कहा कि यदि शासन की भूमि पर श्रीनिवास तिवारी की प्रतिमा नहीं लग सकती, तो फिर कालेज चौराहे पर आकाशवाणी की भूमि पर विवेकानंद की प्रतिमा कैसे स्थापित हो गई, कोठी कंपाउंड में हेमू कलाणी, अस्पताल चौराहे पर दीनदयाल उपाध्याय की प्रतिमाएं नियमों से बाहर कैसे लग गईं।

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उन्होंने प्रशासन पर भेदभावपूर्ण रवैया अपनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि यदि इंजीनियरिंग कॉलेज की भूमि जितनी चाहिए, उतनी दी जा सकती है, तो एक जननेता की स्मृति में 10 फीट भूमि देने से इनकार क्यों। 

यह सिर्फ प्रतिमा नहीं, एक जननेता को सम्मान देने का प्रयास

इंजीनियर शर्मा ने मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री से सीधा सवाल करते हुए कहा क्या श्रीनिवास तिवारी जैसे जननेता के लिए 10 फीट ज़मीन देना अपराध है यह केवल एक मूर्ति नहीं, बल्कि विंध्य क्षेत्र के जनसरोकारों की आवाज़ रहे नेता को सम्मान देने का प्रयास है।

कांग्रेस नेताओं ने साफ संकेत दिए हैं कि यदि प्रशासन समय रहते अपनी स्थिति स्पष्ट नहीं करता, तो जनता खुद सड़क पर उतरकर निर्णय लेगी।