MP में फिर उठी शराबबंदी की मांग, MLA विक्रांत भूरिया ने सरकार पर लगाए आरोप
प्रदेश में अवैध शराब का लेकर अब सियासत तेज हो गई है। एक बार फिर कांग्रेस ने शराबबंदी की मांग करते हुए सरकार को घेरा है। मध्यप्रदेश में पीढ़ियां शराब के कारण बर्बाद हो रही हैं और सरकार धार्मिक स्थलों पर शराबबंदी की बात कर केवल दिखावा कर रही है।

भोपाल. प्रदेश में अवैध शराब का लेकर अब सियासत तेज हो गई है। एक बार फिर कांग्रेस ने शराबबंदी की मांग करते हुए आबकारी नीति पर सवाल उठाएं है और सरकार को घेरा है। आदिवासी कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष और झाबुआ से विधायक विक्रांत भूरिया ने प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय भोपाल में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सरकार पर आरोप लगाते हुए बोले- मध्यप्रदेश में पीढ़ियां शराब के कारण बर्बाद हो रही हैं और सरकार धार्मिक स्थलों पर शराबबंदी की बात कर केवल दिखावा कर रही है।
D3 मुहिम में मोहन सरकार से समर्थन की मांग
विधायक विक्रांत भूरिया ने सरकार पर शराब माफियाओं के साथ साठगांठ के आरोप लगाते हुए कहा कि आदिवासी इलाकों में अवैध शराब के गढ़ बना दिए गए है। जिससे हमारी पीढ़ियां नशे में डूबकर बर्बाद हो रही है। एमपी के रास्ते पूरी शराब गुजरात जा रही है। आदिवासी इलाकों में महुआ की शराब के अलावा सभी शराब बंद होनी चाहिए। उन्होंने D3 मुहिम’ का जिक्र करते हुए कहा कि-अभी आदिवासी इलाकों में d 3 अभियान चल रहा है। जिसके चलते आदिवासी समाज ने दहेज, शराब और डीजे पर प्रतिबंध लगा दिया है। जिसके अच्छे परिणाम भी सामने आ रहे है। सरकार को भी आदिवासी समाज के अभियान में साथ देना चाहिए।
गुजरात स्टेट ड्राय है या नहीं?
विधायक भूरिया ने सरकार को सिंडिकेट का हिस्सेदार बताते हुए कहा कि - झाबुआ,अलीराजपुर में शराब का ठेका 400 करोड़ रुपये में होता है। जबकि डिंडोरी भी आदिवासी जिला है वहां सिर्फ 25 करोड़ का ठेका होता है। क्या यहां हर गरीब आदमी एक लाख रुपये की शराब पी रहा है ? ये पूरा 20 हजार करोड़ का खेल है। मध्यप्रदेश से पूरी शराब गुजरात भेजी जा रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमित शाह को बताना चाहिए कि गुजरात स्टेट ड्राय है या नहीं?