भारत का पहला 8 लेन हाइवे शुरू, दुनिया का सबसे मजबूत और सबसे चौड़ी टनल वाला एक्सप्रेसवे
देश का पहला 8 लेन एक्सप्रेसवे बनकर आज लोगों के लिए तैयार है. पीएम मोदी ने इसका उद्घाटन किया है. और ये एक्सप्रेसवे ज्यादा टाइम, ट्रैफिक दोनों से आपको बचाएगा.

देश का पहला 8 लेन एक्सप्रेसवे बनकर आज लोगों के लिए तैयार है. पीएम मोदी ने इसका उद्घाटन किया है. और ये एक्सप्रेसवे ज्यादा टाइम, ट्रैफिक दोनों से आपको बचाएगा. साथ ही इस एक्सप्रेसवे में देश की सबसे चौड़ी टनल भी शामिल है, जिसमें ट्रैवल करके आपकी रोड ट्रिप और भी शानदार हो जाएगी.
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तो आज इस वीडियो में हम बताएंगे की अर्बन एलिवेटेड द्वारका एक्सप्रेसवे में क्या खास है जो दुनिया का सबसे मजबूत एक्सप्रेसवे बताया जा रहा है. इस एक्सप्रेसवे को NHAI ने भारत माला प्रोजेक्ट के तहत तैयार किया है, साल 2018 में शुरू हुआ ये प्रोजेक्ट करीब 9 हजार करोड़ रुपए की लागत से तैयार किया है, जो दिल्ली से गुरुग्राम की दूरी सिर्फ 20 मिनट में पूरी करेगा. हालांकि इसे 2021 तक बनकर तैयार होना था. लेकिन कोविड के चलते चार साल का ज्यादा समय इसमें लगा है.
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एक्सप्रेसवे दिल्ली के महिपालपुर से शुरू होकर गुरुग्राम के खेड़की दौला टोल तक बनाया है. इसकी कुल लंबाई 29 किलोमीटर है और इसकी चौड़ाई करीब 34 मीटर है, जिसका 18.9 किमी का हिस्सा हरियाणा में और बाकी 10.1 किमी का हिस्सा दिल्ली में है.
इस प्रोजेक्ट की खासियत हैं....
सबसे मजबूर एक्सप्रेस वे
द्वारका एक्सप्रेस वे पर 2 लाख मीट्रिक टन स्टील और 20 लाख क्यूबिक मीटर सीमेंट का यूज हुआ है. जिसे दुनिया का सबसे मजबूत और बेहतरीन एक्सप्रेसवे माना जा रहा है. इसे तैयार करने में कुल 9 हजार करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं.
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दिल्ली का तीसरा रिंग रोड
7 हजार 716 करोड़ रुपए की लागत से बने UER-2 को दिल्ली का तीसरा रिंग रोड कहा जा रहा है, जो दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से कनेक्टिविटी देगा. और इसका 17 किलोमीटर का विस्तार दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे से भी जोड़ेगा. ये रोड एनएच-44, एनएच-9 और एनएच-48 जैसे प्रमुख नेशनल हाईवे से जोड़ेगा. दिल्ली-पानीपत नेशनल हाईवे 44 के अलीपुर प्वाइंट से शुरू होकर नांगलोई, नजफगढ़ रोड, और द्वारका सेक्टर-24 तक जाता है. इस रोड का निर्माण दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से सीधा कनेक्शन देने के लिए किया गया है, जिससे दिल्ली और गुरुग्राम के अंदर के एरिया में ट्रैफिक कम होगा.
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देश की सबसे चौड़ी टनल
इस प्रोजेक्ट के तहत देश की सबसे चौड़ी 3.6 किमी की सुरंग बनाई गई है. एक्सप्रेस वे में ट्रैफिक को स्मूथली रखने के लिए 4 जगहों पर फोर-लेवल और 9 जगहों पर थ्री-लेवल इंटरचेंज बनाए गए हैं. इसके अलावा कई फ्लाईओवर और अंडरपास भी बने हैं. इस एक्सप्रेसवे पर इंटेलिजेंट ट्रांसपोर्ट सिस्टम भी है, जिससे सुरक्षित और बेहतर यात्रा मिलेगी. 3.6 किलोमीटर लंबी और 8 लेन की देश की सबसे चौड़ी अर्बन टनल, जो द्वारका और यशोभूमि को सीधे IGI एयरपोर्ट से जोड़ती है. टनल में सीसीटीवी कैमरे, कंट्रोल रूम और इमरजेंसी एग्जिट की व्यवस्था भी है. लेकिन सिक्योरिटी को देखते हुए 4.5 मीटर से ऊंचे व्हीकल, टू व्हीलर, थ्री व्हीलर, और ज्वलनशील पदार्थ ले जाने वाले टैंकरों को इसमें एंट्री नहीं मिलेगी.
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3 टोल प्लाजा
इस रास्ते पर पर 3 जगहों पर टोल प्लाजा बनाए गए हैं. इनमें द्वारका एक्सप्रेस पर बजघेड़ा, यूईआर पर बक्करवाला और आखिरी टोल प्लाजा सोनीपत स्पर पर झिंझौली में बनाया गया है.
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इकोनॉमिक एक्टिविटी बढ़ेगी
सरकार के द्वारा जारी रिपोर्ट्स में बताया गया कि इस परियोजना से दिल्ली-एनसीआर में इकोनॉमिक एक्टिविटी को बढ़ावा मिलेगा. बेहतर कनेक्टिविटी के कारण बिजनेस, विशेष रूप से रसद और परिवहन क्षेत्र में तेजी आएगी. एयरपोर्ट तक जाने में कम टाइम लगने से टूरिज्म और व्यापार भी बढ़ेगा.