महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन में शामिल हुए पीएम मोदी, MP की पहली मेट्रो समेत करोड़ों की दी सौगात

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को भोपाल पहुंचे थे। जहां उनका भव्य स्वागत किया गया। वे लोकमाता अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती पर आयोजित महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन में शामिल होकर करोड़ों की सौगात दी।

महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन में शामिल हुए पीएम मोदी, MP की पहली मेट्रो समेत करोड़ों की दी सौगात

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भोपाल के जंबूरी मैदान में देवी अहिल्याबाई महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन में शामिल हुए। उन्होंने इंदौर मेट्रो, सतना और दतिया एयरपोर्ट का वर्चुअली लोकार्पण किया। इसके अलावा देवी अहिल्या बाई होलकर की 300वीं जयंती के अवसर पर उनकी स्मृति में एक ₹300 का सिक्का और एक विशेष डाक टिकट जारी किया।

जंबूरी मैदान में पहुंचते ही पीएम मोदी ने खुली जीप में कार्यक्रम स्थल पहुंचे। इस दौरान हाथ जोड़कर महिलाओं का अभिवादन किया। इससे पहले कार्यक्रम स्थल पर ही आयोजित प्रदर्शनी का अवलोकन किया।

महिलाओं के बीच खुली जीप में पहुंचे पीएम मोदी, खास रास्ता किया तैयार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन के दौरान पंडाल में खुली जीप पर सवार होकर महिलाओं के बीच से गुजरें। इस विशेष व्यवस्था के तहत पंडाल के बीचों-बीच एक मार्ग तैयार किया गया था।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी  सबसे पहले लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर के जीवन और योगदान पर आधारित प्रदर्शनी का अवलोकन किया। इस प्रदर्शनी में अहिल्याबाई के सामाजिक, धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यों को चित्रों और मॉडल्स के माध्यम से प्रस्तुत किया गया है।

प्रदर्शनी की कुछ झलकियां

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 31 मई 2025 को भोपाल में आयोजित महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन के दौरान मध्यप्रदेश की लोकमाता देवी अहिल्या बाई होलकर की 300वीं जयंती के अवसर पर उनकी स्मृति में एक ₹300 का सिक्का और एक विशेष डाक टिकट जारी किया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज सतना और दतिया एयरपोर्ट का लोकार्पण किया, जिससे क्षेत्रीय कनेक्टिविटी को बढ़ावा मिलेगा। इसके साथ ही उन्होंने इंदौर मेट्रो परियोजना का भी शुभारंभ किया, जो शहर को आधुनिक परिवहन सुविधा से जोड़ेगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बड़ी बातें

"लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर भारतीय संस्कृति की महान संरक्षक थीं। जब देश की संस्कृति और मंदिरों पर हमले हो रहे थे, तब उन्होंने उन्हें संरक्षित करने का संकल्प लिया और कई मंदिरों एवं तीर्थ स्थलों का पुनर्निर्माण कराया।"

'लखपति दीदी' योजना जिसका उद्देश्य 3 करोड़ महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाना है। इस पहल के तहत, अब तक 1.5 करोड़ से अधिक महिलाएं इस योजना से जुड़ चुकी हैं और आर्थिक रूप से सशक्त हो चुकी हैं। यह योजना महिलाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान करती है, ताकि वे सालाना एक लाख रुपये या उससे अधिक की आय अर्जित कर सकें।

आज की तारीख में, हमारी बहनें और बेटियां देश की प्रगति में महत्वपूर्ण योगदान दे रही हैं। पहले जहां महिलाओं को नई तकनीकों से दूर रखा जाता था, वहीं अब सरकार का प्रयास है कि वे आधुनिक तकनीकों में नेतृत्व करें। 'नमो ड्रोन दीदी अभियान' के माध्यम से, गांव की महिलाएं ड्रोन संचालन में प्रशिक्षित हो रही हैं, जिससे उनकी पहचान नई दिशा में बन रही है।

इसके अतिरिक्त, चंद्रयान-3 मिशन में 100 से अधिक महिला वैज्ञानिक और इंजीनियरों ने योगदान दिया, जो महिलाओं की विज्ञान और प्रौद्योगिकी में बढ़ती भागीदारी को दर्शाता है। स्टार्टअप क्षेत्र में भी महिलाओं की सक्रियता बढ़ी है, और वर्तमान में देश में 45% स्टार्टअप्स में महिलाओं की भूमिका है। यह दर्शाता है कि महिलाएं अब उद्यमिता के क्षेत्र में भी अग्रणी भूमिका निभा रही हैं।

सरकार का यह प्रयास है कि नीति निर्माण में बेटियों की भागीदारी बढ़े। पिछले एक दशक में कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं, जैसे पहली बार महिला वित्त मंत्री का नियुक्त होना, जो महिलाओं की बढ़ती भूमिका को दर्शाता है। इन पहलों से यह स्पष्ट होता है कि महिला सशक्तिकरण केवल एक नीति नहीं, बल्कि एक सतत प्रक्रिया है, जो समाज और देश की प्रगति में महत्वपूर्ण योगदान दे रही है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'नाविका सागर परिक्रमा-2' मिशन की सराहना करते हुए कहा कि भारतीय नौसेना की दो बेटियों ने 250 दिनों तक समुद्र में यात्रा की और पृथ्वी का चक्कर लगाया। उन्होंने बताया कि इन बहादुर महिलाओं ने ऐसी नाव से यात्रा की जो हवा से चलती है, न कि इंजन से। इतने दिनों तक समुद्र में रहना, कई दिनों तक जमीन न देखना, खराब मौसम और भयंकर तूफानों का सामना करना, इन सभी चुनौतियों को उन्होंने पार किया। यह दिखाता है कि कोई भी चुनौती कितनी भी बड़ी हो, भारत की बेटियां उसे पार कर सकती हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में कहा कि भारतीय सेना की बेटियां सीमाओं पर या आतंकवादियों के खिलाफ ऑपरेशनों में हमारी सुरक्षा की ढाल बन रही हैं। उन्होंने देवी अहिल्याबाई होल्कर की भूमिका का उल्लेख करते हुए सभी बेटियों को श्रद्धांजलि अर्पित की।

उनके अनुसार, चाहे सीमा पर ऑपरेशन हो या समुद्र में मिशन, हमारी बेटियां हर मोर्चे पर अग्रणी हैं। उदाहरण के लिए, ऑपरेशन सिंदूर में भारतीय सेना की महिला अधिकारियों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जिससे यह साबित हुआ कि महिलाएं भी राष्ट्रीय सुरक्षा में अहम योगदान दे सकती हैं।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह दिखाता है कि कोई भी चुनौती कितनी भी बड़ी हो, भारत की बेटियां उसे पार कर सकती हैं। उन्होंने देवी अहिल्याबाई की तरह बेटियों को सम्मान देने और उनके योगदान को मान्यता देने की आवश्यकता पर बल दिया।