पत्थर को यूरेनियम बताकर कर रहे थे सौदा, पकड़े गए
सतना। बम बनाने में इस्तेमाल किए जाने वाले यूरेनियम के नाम पर पांच लाख की ठगी करना युवकों को महंगा पड़ गया। जिससे आरोपी सौदा करने की फिराक में थे, वह सजग निगला और उसकी सूचना पर कोलगवां पुलिस ने आनन फानन 3 आरोपियों को दबोच लिया है। आरोपियों के खिलाफ धोखाधड़ी का प्रकरण दर्ज कर कोलगवां पुलिस पूछताछ कर रही है।
क्या है मामला
दरअसल 26 फरवरी को माधवगढ़ हाल मुकाम उतैली निवासी संदीप कुमार के यहां रात तकरीबन साढ़े 9 बजे 3 व्यक्ति आए और उन्होंने कहा कि हम लोगो के पास तकरीबन 1 करोड़ कीमत का यूरेनियम का कीमती पत्थर है जिसे हम आपको केवल 5 लाख रूपए मे बेचना चाहते हैं। युवकों ने संदीप को झांसा दिया कि यदि इसे उच्चस्तर पर बेचोगे तो कम से कम ये पत्थर 1 करोड़ में बिकेंगे। संदीप ने आए युवकों को यूरेनियम पत्थर दिखाने के लिए कहा ।
संदीप के बिना सामान दिखाए इस मामले में कोई बात न करने की जिद देख आरोपियों ने एक काले रंग के बैग को खोला और अंदर पालीथिन में रखे कई छोटे- छोटे पत्थर के टुकड़े दिखाए। पत्थर के टुकड़े चमकदार थे । पत्थर यूं चमक रहे थे कि संदीप को ठगी का अहसास हुआ। इस दौरान विज्ञान विषय लेकर संदीप द्वारा की गई पढ़ाई भी काम आई। चूंकि उसने पढ़ रखा था कि यूरेनियम का उपयोग सेना और आतंकवादी विस्फोटक तैयार करने के लिए करते हैं, ऐसे में उसने यह जानकारी पुलिस से साझा करने का इरादा बनाया और तीनो व्यक्तियों से उनके नाम पूछे ।
संदीप को आरोपियों ने अपना नाम दिवाकर चन्द गौतम, मुन्ना चमार एवं शिवमूरत चतुर्वेदी बताया। संदेह होने पर संदीप ने मामले की सूचना कोलगवां पुलिस को दी । कोलगवां पुलिस ने मामले को संजीदगी से लेते हुए आरोपियों के खिलाफ भादवि की धारा 420,34 के तहत मामला कायम कर विवेचना प्रारंभ की।
पत्थर की होगी लैब जांच
कोलगवां पुलिस ने इस मामले में दिवाकर चन्द गौतम पिता सरयू प्रसाद उम्र 43 वर्ष नि असवा थाना बारा जिला प्रयागराज उप्र, मुन्ना पिता तेजा उम्र 45 वर्ष नि ग्राम छिछा थाना बिन्दुकी जिला फतेहपुर उप्र तथा शिवमूरत चतुर्वेदी पिता राजमणि उम्र 53 वर्ष नि बराज थाना कोलगवांको गिरफ्तार कर आरोपियों को माननीय न्यायालय के समक्ष पेश किया गया जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया है। आरोपियों के कब्जे से तथाकथित यूरेनियम पत्थर को भी जप्त किया गया है। पुलिस सूत्रों के अनुसार बरामद पत्थरों का लैब टेस्ट करा यह जांच जाएगा कि क्या पत्थर में वाकई यूरेनियम है?
टीम गठित कर टीआई ने स्वयं संभाली कमान
मामले की गंभीरता देखते हुए कोलगवां थाना प्रभारी देवेंद्र प्रताप सिंह ने टीम गठित की जिसमें एसआई डीआर शर्मा, आरपी त्रिपाठी, आशीष धुर्वे, श्रीराम सनोडिया, भक्तराज सिंह , इरफान खान, साइबर सेल प्रभारी अजीत सिंह, अजीत मिश्रा, कमलाकर सिंह, विकास सिंह, शहंशाह खान प अंकेश शामिल रहे। टीआई ने इस मामले का स्वयं नेतृत्व करते हुए अलग-अलग टीम गठित की। अलग-अलग टीमों द्वारा आरोपियों को दबोचने घेराबंदी की गई । कोलगवां पुलिस की रणनीति बनाकर की गई कार्रवाई के सकारात्मक नतीजे भी सामने आए और आरोपियों को चंद घंटों के अंदर गिरफ्तार कर लिया गया ।