अनुसंधान - ‘टीओआई-184बी’ हमारी पृथ्वी से दोगुना बड़ा, यह ग्रह 7.2 अरब साल पुराना
कई सालों से वैज्ञानिक धरती के अलावा कोई दूसरे ऐसा ग्रह खोजना चाहते हैं जहां धरती की तरह ही पानी मौजूद हो और अब लगता है कि उनका ये इंतजार खत्म हो सकता है.

नासा ने खोजा पानी से भरा हुआ रहस्यमय सुपर अर्थ
कई सालों से वैज्ञानिक धरती के अलावा कोई दूसरे ऐसा ग्रह खोजना चाहते हैं जहां धरती की तरह ही पानी मौजूद हो और अब लगता है कि उनका ये इंतजार खत्म हो सकता है. खगोलविदों ने एक ऐसे ग्रह की खोज की है जिसके बारे में मानना है कि यह पानी से भरा हो सकता है जिसका नाम है टीओआई-1846बी.
मोरक्को की औकाइमेडेन लैब के अब्दुरहमान साबकिउ की टीम ने की खोज
इस सुपर अर्थ को मोरक्को की औकाइमेडेन लैब के अब्दुरहमान साबकिउ के नेतृत्व में खगोलविदों की टीम ने खोजा है. रिसर्च करने वाली टीम ने नासा के ट्रांसिटिंग एक्सोप्लैनेट सर्वे सैटेलाइट(टीईएसएस) की मदद से इस खोज को संभव बनाया है. टीओआई-184बी की खोज करने वाली टीम का मानना है कि यह ग्रह 7.2 अरब साल पुराना है और इस पर पानी का बड़ा भंडार मौजूद हो सकता है. साथ ही यह ग्रह धरती से 154 प्रकाश वर्ष दूर है और पृथ्वी से करीब दोगुना बड़ा और 4 गुना भारी है.
चार दिन का एक साल
टीम की रिसर्च कहती है कि टीओआई-1846 बी हर 3.93 दिनों में अपनी उपग्रह की परिक्रमा पूरी करता है और इसका एक साल महज 4 दिन का होता है. इसके अलावा वैज्ञानिकों ने इस ग्रह का तापमान 295 डिग्री सेल्सियस होने का अनुमान लगाया है. वैज्ञानिकों ने टीईएसएस के अलावा ग्राउंड बेस्ड कलर फोटोग्राफी, हाई रिजॉल्यूशन इमेजिंग और स्पेक्ट्रोस्कोपिक का भी इस्तेमाल किया.
पानी से भरा हो सकता है
खगोलविद ये मान रहे हैं कि खोया गया नया ग्रह पानी से भरपूर हो सकता है लेकिन इसकी सटीक जानकारी के लिए और रिसर्च करने की जरूरत है. वैज्ञानिकों का कहना है कि ञ्जह्रढ्ढ-1846 ड्ढ की संरचना जानने के लिए रेडियल वेलोसिटी की मदद ली जाएगी. इसके बाद ही सही से पता चल पाएगा इस ग्रह पर पानी की मौजूदगी है या नहीं.
एक साल में दूसरा सुपरअर्थ
2025 की शुरुआत में वैज्ञानिकों ने एचडी 20794 डी नाम के सुपर अर्थ की खोज की थी जो धरती से 6 गुना भारी था. इस ग्रह की सतह पर भी पानी होने का अनुमान लगाता गया है. बता दें कि यह भी धरती की ही तरह अपने तारे के चारों ओर घूमता है, लेकिन पृथ्वी की तरह इसका ऑर्बिट गोलाई में नहीं है जिससे यह कहने में कि यह कहना कि यहां जीवन संभव या नहीं, कहना जरा मुश्किल है.